वो हमको फूल फूल कह के फूल बना गए…….
हम गए पास तो एक कांटा चुभा गए…
जाने कहा से फिर से याद आ गयी उनकी…
सोने से पहले एक बार फिर से हमें रुला गए….
नींद खुली तो एहसास हुआ की वो एक सपना था…
सामने देखा तो बैठा कोई अपना था…
मेरे दो दोस्त ठहाका लगा रहे थे…
बोले सपने में भी तुम हमको बुला रहे थे…
सपना भी कभी कभी हकीकत की तरह होता है…
वजह कोई भी हो , लेकिन हर एक दोस्त जरुरी होता है…..
हम गए पास तो एक कांटा चुभा गए…
जाने कहा से फिर से याद आ गयी उनकी…
सोने से पहले एक बार फिर से हमें रुला गए….
नींद खुली तो एहसास हुआ की वो एक सपना था…
सामने देखा तो बैठा कोई अपना था…
मेरे दो दोस्त ठहाका लगा रहे थे…
बोले सपने में भी तुम हमको बुला रहे थे…
सपना भी कभी कभी हकीकत की तरह होता है…
वजह कोई भी हो , लेकिन हर एक दोस्त जरुरी होता है…..